यह कविता , श्रीकृष्ण शर्मा की पुस्तक - " अक्षरों के सेतु " ( काव्य - संग्रह ) से ली गई है -
पहाड़ी पर बढ़ता हुआ ट्रक
गूँजता ,
बस / एक अर्राता |
हर सतह पर
तोड़ता जो
रात भर का जमा
सन्नाटा |
इस पहाड़ी रास्ते बढ़ता हुआ
ट्रक | **
- श्रीकृष्ण शर्मा
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संकलन – सुनील कुमार शर्मा ,
जवाहर नवोदय विद्यालय , जाट बड़ोदा , जिला – सवाई माधोपुर ( राजस्थान ) , फोन नम्बर
– 9414771867.
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